कलयुग में जीवन को यदि सफल बनाना है तो हनुमानजी की शरण लेना आवश्यक -ः श्री नीलकंठ महाराज। If you want to make life successful in Kaliyuga then it is necessary to take refuge in Hanumanji -: Shri Neelkanth Maharaj

 कलयुग में जीवन को यदि सफल बनाना है तो हनुमानजी की शरण लेना आवश्यक -ः श्री नीलकंठ महाराज

तीन दिवसीय श्री हनुमान चरित्र कथा आयोजन की तैयारी एवं व्यवस्था देखने श्री सालंगपुर धाम के संत नीलकंठ महाराज झाबुआ  आये 

श्री संकट मोचन सेवा समिति हनुमान टेकरी एवं श्री कष्टभंजनदेव भक्त मंडल ने किया गरिमामय अभिनंदन



झाबुआ। आगामी 27 से 29 अक्टूबर तक झाबुआ के अंबा रिसोर्ट पर तीन दिवसीय जिला स्तरीय श्री हनुमान चरित्र कथा का आयोजन प्रतिदिन रात 8 से 11 बजे तक श्री संकट मोचन सेवा समिति हनुमान टेकरी एवं श्री कष्टभंजनदेव भक्त मंडल द्वारा भव्य स्तर पर किया जाएगा। कथा की व्यापक तैयारियां एवं भव्य प्रचार-प्रसार आयोजन समिति द्वारा किया जा रहा है। यह कथा श्री सालंगपुर धाम (गुजरात) के सुप्रसिद्ध संत डॉ. हरिप्रकाशदास स्वामीजी के मुखारविंद से होगी।

इसी क्रम मंे श्री हनुमान चरित्र कथा की तैयारियां एवं व्यवस्था देखने श्री सालंगपुर धाम गुजरात से संत श्री नीलकंठ महाराज 11 अक्टूबर, शनिवार रात करीब 8 बजे झाबुआ पहुंचे। जिनकी श्री संकट मोचन सेवा समिति हनुमान टेकरी एवं श्री कष्टभंजनदेव भक्त मंडल द्वारा आगवानी करते हुए गरिमामय स्वागत एवं अभिनंदन किया गया। श्री नीलकंठ महाराज ने कथा स्थल अंबा रिसोर्ट का निरीक्षण कर यहां की समस्त व्यवस्थाएं देखी। कथा आयोजन को लेकर श्री संकट मोचन सेवा समिति एवं श्री कष्टभंजनदेव भक्त मंडल द्वारा की जा रहीं तैयारियां और व्यवस्थाओं पर प्रसन्नता व्यक्त की। संतश्री ने समिति के सदस्यों से आयोजन संबंधी विस्तृत चर्चा की। रात्रि विश्राम अंबा रिसोर्ट पर किया। 12 अक्टूबर, रविवार दोपहर का भोजन श्री संकट मोचन सेवा समिति के पूर्व अध्यक्ष अरूण भावसार के निवास पर पहुंचकर ग्रहण किया।

संकट मोचन हनुमानजी के दर्शन किए

इसके बाद दोपहर 1 बजे श्री संकट मोचन हनुमान टेकरी पहुंचकर यहां श्री संकट मोचन हनुमानजी के दर्शन किए। बाद संक्षिप्त वार्ता को संबोधित किया। इससे पूर्व श्री संकट मोचन सेवा समिति की ओर से अध्यक्ष राकेश झरबड़े, वरिष्ठ सदस्य गजेन्द्रसिंह चंद्रावत, मुकेश नीमा, तरूण बैरागी, पुष्पेन्द्र नीमा, सज्जनसिंह सिसौदिया, श्यामसुंदर शर्मा, दिनेश चौहान, पं. मोहित पुरोहित, श्री कष्टभंजनदेव भक्त मंडल से पियूष पटेल, शुभम राठौर आदि ने नीलकंठ महाराज का पुष्पगुच्छ भेंटकर अभिनंदन किया।

जीवन में सकलता की कुंजी है श्री कष्टभंजनदेव

संक्षिप्त वार्ता में श्री नीलकंठ महाराज ने कहा कि जीवन में यदि सफल बनना है और जीवन को सद्मार्ग की ओर ले जाना है, तो हनुमानजी की शरण लेना आवश्यक है। कलयुग में हनुमानजी ऐसे देवता है, तो साक्षात धरती पर विराजमान है। उनका नाम जाप से एवं नित्य श्री हनुमान चालीसा, सुंदरकांड, बजरंग बाण पाठ करने से हमे हनुमानजी जैसी शक्ति और बल की प्राप्ति होती है। आप बल और बुद्धि के देवता है तथा जीवन में समस्त प्रकार के संकट और कष्टों को हरने वाले देव है। संतश्री ने झाबुआ में तीन दिवसीय श्री हनुमान चरित्र कथा के बारे में बताया कि इस कथा के माध्यम से श्री हनुमानजी के चरित्र का वर्णन प्रख्यात संत डॉ. हरिप्रकाशदास स्वामीजी के मुखारविन्द से होगा। हनुमानजी के जन्म से लेकर चिरंजीवी होने का वर्णन किया जाएगा।

प्रथम दिन निकाला जाएगा चल समारोह

कथा को लेकर श्री सालंगपुर धाम के प्रबंधक एवं संत डॉ. हरिप्रकाशदास स्वामीजी 27 अक्टूबर को झाबुआ पधारेंगे। इस अवसर पर दोपहर में श्री हनुमान चरित्र कथा की पौथी की बैंड-बाजों के साथ शोभायात्रा निकालकर कथा स्थल पर विराजमान की जाएगी। तीन दिनों तक डॉ. हरिप्रकाशदास स्वामीजी के मुखारविन्द से कथा का रसपान होगा। जिसमें झाबुआ जिलेवासियो सहित आसपास के जिलों आलीराजपुर, धार, रतलाम, गुजरात के दाहोद, राजस्थान के बांसवाड़ा, कुशलगढ़ आदि स्थानों से भक्तजनों से अधिकाधिक संख्या में पधारकर कथा का श्रवण करने हेतु आव्हान किया। इस दौरान कार्यक्रम का संचालन समिति के अंबरीश भावसार ने किया एवं अंत में आभार समिति के वरिष्ठ सदस्य गजेन्द्रसिंह चंद्रावत ने माना।

फोटो 01 -ः श्री सालंगपुर धाम से पधारे संत नीलकंठ महाराज की श्री संकट सेवा समिति हनुमान टेकरी एवं श्री कष्टभंजदेव भक्त मंडल ने आगवानी की।




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